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ज़मीन की रजिस्ट्री कराने वालों के लिए ‘रेड अलर्ट’!

ज़मीन की रजिस्ट्री कराने वालों के लिए 'रेड अलर्ट'!

हर भारतीय परिवार अपने नाम पर ज़मीन या घर का सपना देखता है। और जब बात पत्नी या परिवार की किसी महिला सदस्य के नाम पर संपत्ति खरीदने की आती है, तो यह खुशी दोगुनी हो जाती है, क्योंकि कई राज्यों की सरकारें स्टाम्प शुल्क में भारी छूट देती हैं। यह महिलाओं को सशक्त बनाने का एक बेहतरीन तरीका रहा है।

लेकिन अब ज़मीन की रजिस्ट्री से जुड़ा एक बड़ा अपडेट सामने आया है जिससे कई लोग चिंतित हैं। अगर आप जल्द ही अपनी पत्नी के नाम प्लॉट या घर लेने की सोच रहे हैं, तो रुकिए! सरकार ने एक अहम सूचना जारी की है, जिसमें ज़मीन की रजिस्ट्री के नियमों में बड़ा बदलाव किया गया है। आइए जानें क्या हैं ये नियम और आपको क्यों सावधान रहना चाहिए।

पत्नी के नाम पर ज़मीन: क्यों जारी हुआ ‘सावधान’ नोटिस?

यह नया नोटिस सीधे तौर पर स्टाम्प ड्यूटी छूट से जुड़ा है। कई राज्यों में, महिलाओं को संपत्ति की रजिस्ट्री कराते समय 1% से 2% स्टाम्प ड्यूटी छूट मिलती है, जिससे लाखों रुपये की बचत हो सकती है। हालाँकि, सरकार ने पाया है कि कुछ मामलों में, लोग छूट का लाभ उठाने के लिए दस्तावेज़ों में अपनी पत्नियों का नाम जोड़ देते हैं, जबकि वास्तविक मालिक पुरुष ही रहता है, या इस छूट का दुरुपयोग किया जा रहा है।

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इसलिए, कई राज्यों की सरकारों ने अब इस छूट से जुड़े नियमों को और कड़ा कर दिया है:

  1. संयुक्त स्वामित्व पर सख्ती: पहले, संयुक्त नामों पर भी छूट मिलती थी। अब, कुछ राज्यों में, सरकार ने यह सुनिश्चित करना शुरू कर दिया है कि संपत्ति में महिला का हिस्सा पर्याप्त हो। अगर उसका हिस्सा नाममात्र का है, तो छूट नहीं मिलेगी।
  2. पहली संपत्ति की अनिवार्यता: कुछ जगहों पर, अब छूट तभी मिलेगी जब ज़मीन या घर पत्नी के नाम पर पहली संपत्ति हो।
  3. आधार और पैन कार्ड की अनिवार्यता: किसी भी धोखाधड़ी को रोकने के लिए, संपत्ति खरीदने वाले पुरुष और महिला दोनों के लिए अपने आधार और पैन कार्ड को ज़मीन के दस्तावेज़ों से जोड़ना अनिवार्य हो गया है।

ज़मीन रजिस्ट्री के नए नियम: क्या है बड़ा बदलाव?

अब सबसे बड़ा बदलाव यह है कि आपको संपत्ति के पंजीकरण के समय एक घोषणापत्र देना होगा जिसमें यह बताया जाएगा कि खरीदारी सिर्फ़ टैक्स या छूट के लाभ के लिए नहीं है, बल्कि महिला ही संपत्ति की असली मालिक होगी। रजिस्ट्री कार्यालयों को विशेष निर्देश दिए गए हैं कि वे यह सुनिश्चित करें कि महिला खरीदारों के पहचान पत्र और अन्य दस्तावेज़ों का पूरी तरह से सत्यापन किया जाए।

Conclusion:
अपनी पत्नी के नाम पर ज़मीन लेना एक अच्छा आर्थिक और भावनात्मक फ़ैसला है, लेकिन नए नियमों के तहत, अब आपको पहले से ज़्यादा दस्तावेज़ तैयार करने होंगे और सभी नियमों का पालन करना होगा। अगर आप इन नियमों का उल्लंघन करते पाए जाते हैं, तो आपका पंजीकरण रद्द हो सकता है और आपको भारी जुर्माना भी लग सकता है। इसलिए, जल्दबाज़ी से बचें और पंजीकरण से पहले अपने राज्य के नए नियमों की जाँच कर लें।

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